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तेलंगाना के नलगोंडा जिले से कांग्रेस विधायक वेमुला वीरेशम को हनी ट्रैप में फंसाने की कोशिश की गई। साइबर अपराधियों ने उन्हें एक आपत्तिजनक वीडियो कॉल किया और फिर ब्लैकमेल करने लगे। इस घटना के बाद विधायक ने तुरंत पुलिस में शिकायत दर्ज कराई, जिसके बाद मामले की जांच शुरू कर दी गई है।
कैसे हुई हनी ट्रैप की कोशिश?
पुलिस के अनुसार, नकरेकल विधानसभा क्षेत्र के विधायक वीरेशम को मंगलवार देर रात एक अनजान नंबर से वीडियो कॉल आई। कॉल के दौरान स्क्रीन पर एक बिना कपड़ों की महिला दिखाई दी। इससे पहले कि विधायक कुछ समझ पाते, जालसाजों ने उनका स्क्रीनशॉट ले लिया और इसके आधार पर उनसे पैसे की मांग करने लगे। जालसाजों ने धमकी दी कि अगर उन्होंने पैसे नहीं दिए तो यह स्क्रीनशॉट उनके परिवार और करीबी लोगों को भेज दिया जाएगा।
विधायक ने तुरंत पुलिस से की शिकायत
जैसे ही विधायक को इस धोखाधड़ी का अहसास हुआ, उन्होंने तुरंत फोन काट दिया और पुलिस को पूरे मामले की जानकारी दी। उनकी शिकायत पर पुलिस ने तुरंत मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी। शुरुआती जांच में यह पता चला है कि यह कॉल मध्य प्रदेश से की गई थी। हालांकि, अभी तक अपराधियों की पहचान नहीं हो पाई है। पुलिस की साइबर क्राइम टीम इस मामले में तकनीकी विश्लेषण कर रही है, जिससे आरोपियों का पता लगाया जा सके।
साइबर अपराधियों का नया तरीका
यह पहली बार नहीं है जब किसी बड़े राजनेता या प्रसिद्ध व्यक्ति को हनी ट्रैप में फंसाने की कोशिश की गई हो। साइबर अपराधी अक्सर ऐसे तरीकों से लोगों को निशाना बनाते हैं और फिर उन्हें ब्लैकमेल कर मोटी रकम वसूलने की कोशिश करते हैं। पुलिस अधिकारियों ने बताया कि हाल ही में ऐसे कई मामले सामने आए हैं, जिनमें जालसाज पहले अश्लील वीडियो कॉल करते हैं और फिर स्क्रीनशॉट लेकर ब्लैकमेल करने लगते हैं।
विधायक ने जनता को किया सतर्क
इस घटना के बाद विधायक वीरेशम ने मीडिया से बातचीत करते हुए जनता को सतर्क रहने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि अगर किसी को भी इस तरह की संदिग्ध कॉल आती है तो घबराने की बजाय तुरंत पुलिस को सूचना दें। उन्होंने जनता से अपील की कि वे साइबर अपराधियों के जाल में न फंसें और ऐसे मामलों की रिपोर्ट जरूर करें।
साइबर सुरक्षा विशेषज्ञों की राय
साइबर सुरक्षा विशेषज्ञों का कहना है कि इस तरह की ठगी से बचने के लिए लोगों को अनजान नंबरों से आने वाली वीडियो कॉल्स को रिसीव नहीं करना चाहिए। इसके अलावा, फोन में स्पैम कॉल ब्लॉक करने वाले ऐप्स का इस्तेमाल करना भी फायदेमंद हो सकता है। किसी भी संदिग्ध कॉल या मैसेज को नजरअंदाज करने के बजाय उसकी सूचना तुरंत साइबर क्राइम हेल्पलाइन या पुलिस को देनी चाहिए।
इस मामले में पुलिस जल्द ही आरोपियों तक पहुंचने की कोशिश कर रही है और इस तरह के अपराधों को रोकने के लिए सतर्कता बरतने की सलाह दी गई है।
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