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हिंदू कैलेंडर के अनुसार हर साल हिंदी धर्म में कुल 24 एकादशियां मनाई जाती हैं. इस तरह से देखे तो एकादशी महीने में दो बार पड़ती है. पहला कृष्ण पक्ष को पढ़ती है और दूसरा शुक्ल पक्ष में मानते है. आपकी जानकारी के लिए बता दें कि ज्येष्ठ मास के कृष्ण पक्ष में पड़ने वाली एकादशी को अपरा एकादशी कहते हैं. और इसे अचला एकादशी भी कहते हैं. इस बार अपरा एकादशी का व्रत 26 मई गुरुवार रखा जा रहा है और खास बात यह है कि इस बार आयुष्मान योग में अपरा एकादशी मनाई जा रही है. इस पर ज्योतिषियों का कहना है कि अपरा एकादशी के दिन कुछ काम वर्जित होते हैं.
1. अपरा एकादशी के दिन चावल का सेवन नहीं करना चाहिए. इससे व्यक्ति का मन चंचल हो जाता है और भगवान की भक्ति के समय उसकी एकाग्रता भंग हो सकती है.
2. एकादशी के दिन सात्विक भोजन करने का विधान है. इस दिन लहसुन और प्याज का सेवन भी वर्जित होता है. इसके अलावा मांस खाना या शराब पीने का विचार भी मन में नहीं लाना चाहिए.
3. एकादशी के दिन बिस्तर या पलंग पर सोने की बजाय जमीन पर ही सोना चाहिए. इस दिन शारीरिक संबंध या ऐसे विचार मन में लाने से भी बचना चाहिए.
4. एकादशी के दिन काले रंग के वस्त्र नहीं पहनने चाहिए. इसके बजाय आप पीले रंग के कपड़े पहनें तो बेहतर होगा. पूजा के समय भी पीले रंग के वस्त्र धारण करें.
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