पूरे देश में कोरोना वैक्सीन का ड्राई रन आज से होगा शुरू, यहां जानें क्या है पूरी प्रक्रिया

फ्रंट लाइन वर्कर्स और हेल्थ वर्कर्स को रजिस्ट्रेशन नहीं करवाना पड़ेगा, क्योंकि ये डेटा कोविन वैक्सीन डिलीवरी मैनेजमेंट सिस्टम पर पहले से ही मौजूद है।

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कोरोना वायरस के बढ़ते इंफेक्शन और ख़तरे को रोकने के लिए अब केंद्र सरकार ने पूरी तरह से कमर कस ली है। जिसके चलते केंद्र सरकार द्वारा केंद्र शासित प्रदेशों और राज्यों को वैक्सीन की डिलीवरी लेने की तैयारी जल्द से जल्द पूरी करने के आदेश दिए गये। जिसे देखकर ऐसी उम्मीद की जा रही है कि 13 या 14 जनवरी तक वैक्सीनेशन शुरू हो सकेगा। मिली जानकारी के मुताबिक़ दो राज्यों को के अलावा 8 जनवरी को पूरे भारत में ड्राई रन चल रहा है। 

वैक्सीनेशन का प्लान क्या है ?

* वैक्सीनेशन प्रक्रिया को तीन चरणों में बांटा गया है। पहले चरण में वैक्सीन को प्राइमरी हेल्थ सेंटर तक पहुंचाया जाएगा। दूसरे चरण में जिसको वैक्सीन की जरूरत है उसकी पहचान होगी और तीसरे में टीका लगाने के बाद में व्यक्ति की निगरानी होगी।

* पूरी प्रक्रिया को प्रत्येक राज्य में अच्छी तरह समझाने के लिए दिशा-निर्देश दिए गये हैं। केंद्र सरकार द्वारा पत्र लिखकर 5 जनवरी को टीके की डिलीवरी लेने के लिए कहा है।

क्या है वैक्सीन के ट्रांसपोर्ट की तैयारी?

* कोरोना वैक्सीन का ट्रांसपोर्टेशन एक-दो दिन में शुरू किया जाएगा। पुणे से वैक्सीन का डिस्ट्रिब्यूशन किया जाएगा यानी वो सेंट्रल हब बनाया गया है। 

*  देशभर में 41 एयरपोर्ट्स चिन्हित किए गये हैं, जहां वैक्सीन डिलीवर की जाएगी। इसी के साथ उत्तर में मिनी हब दिल्ली और करनाल को बनाया गया। इसी तरह पूर्वी क्षेत्र में कोलकाता और गुवाहाटी में मिनी हब बनाया जाएगा। साथ ही दक्षिण में चेन्नई और हैदराबाद निर्धारित पॉइंट्स होंगे।

* पहले चरण में प्राइमरी हेल्थ सेंटर तक वैक्सीन पहुंचाने के लिए मौजूदा वैक्सीन डिलीवरी सिस्टम का इस्तेमाल किया जाएगा। राज्यों और जिलों में वैक्सीन स्टोर बनाए गए हैं जिनमें वैक्सीन पहुँचाने की भी प्रक्रिया है।

कब और किसे लगेगी वैक्सीन?

* सरकार द्वारा प्रायोरिटी ग्रुप्स में 30 करोड़ लोगों के नाम शामिल किए गए हैं। मिली जानकारी के मुताबिक़ सबसे पहले फ़्रंटलाइन वर्कर्स, हेल्थकेयर वर्कर्स, 50 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों को टीका लगाया जाएगा। 50 वर्ष से कम उम्र के उन लोगों को टीका लगाया जाएगा जिन्हें ब्लड प्रेशर, डाइबिटीज, आदि कोई बीमारी है। 

* फ्रंट लाइन वर्कर्स और हेल्थ वर्कर्स को रजिस्ट्रेशन नहीं करवाना पड़ेगा, क्योंकि ये डेटा कोविन वैक्सीन डिलीवरी मैनेजमेंट सिस्टम पर पहले से ही मौजूद है।

* वैक्सीनेशन की पूरी प्रक्रिया पर ध्यान देने और उसे ट्रैक करने के लिए डिजिटल प्लेटफॉर्म Co-WIN को लॉन्च किए गए है। इस पर रजिस्टर्ड किए बिना वैक्सीन नहीं लग सकेगी।

* टीकाकरण शुरू होने से पहले वैक्सीन लगवाने वाले और लगाने वाले  लोगों को इस प्रक्रिया का निर्देश देने के लिए 12 भाषाओं में SMS भेजे जाने हैं। टीके की हर डोज के बाद QR कोड बेस्ड सर्टिफिकेट दिया जाएगा और उनकी यूनीक हेल्थ ID भी जनरेट होगी।

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