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बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र शास्त्री इन दिनों खबरों के सुर्खियों में बने हुए हैं. कोई उनकी जमकर आलोचना कर रहा है तो कोई उनके पक्ष में आवाज उठा रहा है. इसी कड़ी मध्य प्रदेश की कैबिनेट मिनिस्टर उषा ठाकुर ने धीरेंद्र शास्त्री का समर्थन करते हुए विवादित बयान दे दिया है. उन्होंने धीरेंद्र शास्त्री का विरोध करने वालों को देशद्रोही बता दिया है.
रामदेव भी आए समर्थन में
उषा ठाकुर ने कहा, जब-जब राष्ट्र द्रोहियों को कष्ट होगा कि सनातन दृढ़ता से मजबूती से खड़ा है. तब तक इस प्रकार के षडय़ंत्र बरसों से चले आ रहे हैं. ये जो लोग धीरेंद्र शास्त्री के पीछे पड़े हैं वो और कुछ नहीं देशद्रोही हैं. इससे पहले योग गुरु बाबा रामदेव (Swami Ramdev) का समर्थन धीरेंद्र शास्त्री को मिल चुका है. स्वामी रामदेव ने कहा है, "कुछ पाखंडी धीरेंद्र शास्त्री पर टूटकर पड़े हैं और पूछ रहे हैं कि बालाजी की कृपा क्या है, हनुमान जी की कृपा क्या है?"
जानें क्या है पूरा मामला
दरअसल, महाराष्ट्र के नागपुर शहर में श्री राम चरित्र-चर्चा का आयोजन हुआ था. उस दौरान धीरेंद्र शास्त्री का दरबार लगा था. जिसमें अंधश्रद्धा उन्मूलन समिति ने उन पर जादू-टोने और अंधविश्वास फैलाने का आरोप लगाया था. धीरेंद्र शास्त्री पर दिव्य दरबार और प्रेत दरबार की आड़ में जादू-टोना को बढ़ावा दिए जाने का आरोप था. इसके बाद से विवाद जारी है.
लोगों के मन की बात पढ़ने का दावा
बता दें कि धीरेंद्र शास्त्री का दावा है कि वे लोगों के मन की बात पढ़ लेते हैं. कोई भक्त अपनी समस्या लेकर उनके पास आता है तो वे पहले ही उसे कागज पर लिख लेते हैं और उसका समाधान भी बता देते हैं. बागेश्वर धाम के सरकार का कहना है कि ये ध्यान विधि का नतीजा है जो सनातन धर्म की सदियों पुरानी परंपरा है. आभासी शक्ति के जरिए वे भक्त की समस्या जानकर उसे कागज पर लिख लेते हैं. हनुमान जी की कृपा से वह सही हो जाता है. हनुमान जी की गदा की तरह दिखने वाला यह मुगदर हमेशा बागेश्वर महाराज के साथ रहता है. उनका कहना है कि इसी मुगदर से उन्हें शक्तियां मिलती हैं. इसी को लेकर विवाद बना हुआ है.
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