स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि केवल वे लोग जो किसी बीमारी के कारण टीकाकरण केंद्रों तक नहीं पहुंच पा रहे हैं, उन्हें एसओपी का पालन करते हुए घर पर ही टीका लगाया जाएगा.
स्वास्थ्य मंत्रालय ने गुरुवार को अपनी नियमित साप्ताहिक ब्रीफिंग के दौरान कहा कि प्रतिबंधित गतिशीलता, विशेष जरूरतों वाले लोगों को घर पर कोविड -19 के खिलाफ टीका लगाया जाएगा, क्योंकि सरकार ने प्रावधान को मंजूरी दे दी है. "जिनके पास पर्याप्त गतिशीलता नहीं है कि उन्हें उनके घर से बाहर लाया जा सके, या यदि किसी को कोई विकलांगता या कुछ विशेष आवश्यकता है कि उन्हें केंद्र में नहीं लाया जा सकता है, उनके लिए हमने घर पर रहने का प्रावधान किया है. पर्यवेक्षण के तहत टीकाकरण, "नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डॉ वीके पॉल ने कहा कि भारत ने अपनी वयस्क आबादी के 66% लोगों को टीकों की कम से कम एक खुराक का टीकाकरण करने का मील का पत्थर हासिल किया है.
डॉ पॉल ने कहा, "हमें विश्वास है कि हमारा टीका सुरक्षित है और टीकों को घर तक ले जाने के लिए हम जो प्रणाली लाएंगे वह सुरक्षित, प्रभावी, पोषण और सहायक होगी। यह एसओपी का पालन करेगी. यह एक महत्वपूर्ण विकास है." इस संबंध में आदेश जारी कर दिया गया है और स्थानीय टीमें इस तरह के टीकाकरण अभियान में भाग लेंगी. केंद्र ने 22 सितंबर को इस संबंध में सभी राज्यों को पत्र लिखा है.