असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने सोमवार को कार्यभार संभालने के बाद कई मुठभेड़ों को सही ठहराते हुए कहा कि अगर अपराधी भागने की कोशिश करता है
असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने सोमवार को कार्यभार संभालने के बाद कई मुठभेड़ों को सही ठहराते हुए कहा कि अगर अपराधी भागने की कोशिश करता है या पुलिस से हथियार छीनने की कोशिश करता है तो मुठभेड़ पैटर्न अपनाया जाना चाहिए.
असम में मुठभेड़ों की बढ़ती संख्या को लेकर राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप तेज हो गए हैं. राज्य में हिरासत से "भागने की कोशिश" कर रहे लगभग एक दर्जन संदिग्ध उग्रवादियों और अपराधियों को हाल के दिनों में मुठभेड़ों में मार गिराया गया है.
असम के सभी थाना प्रभारियों के साथ अपनी पहली आमने-सामने की बैठक में सरमा ने कहा, ''अगर कोई आरोपी सर्विस गन छीनकर भागने की कोशिश करता है और अगर उस पर रेप का आरोप है तो गोली मारने का कानून है. पैर में ऐसे लोग। ” अनुमति देता है, सीने में नहीं.'
उन्होंने कहा, "जब कोई मुझसे पूछता है कि क्या राज्य में मुठभेड़ एक पैटर्न बन गया है, तो मैंने कहा कि अगर अपराधी पुलिस हिरासत से भागने की कोशिश करता है तो (मुठभेड़) पैटर्न होना चाहिए," उन्होंने कहा.
सरमा ने कहा कि अगर आरोपी या अपराधी पहले गोली चलाते हैं या भागने की कोशिश करते हैं तो कानून पुलिस को गोली चलाने की इजाजत देता है. उन्होंने कहा कि सामान्य तौर पर आरोपी पर चार्जशीट लगाई जाएगी और सजा दी जाएगी, लेकिन अगर कोई भागने की कोशिश करता है, तो वह "जीरो टॉलरेंस" का रुख अपनाएगा.
राज्य में मई से अब तक मुठभेड़ों में लगभग 12 संदिग्ध आतंकवादी और अपराधी मारे गए हैं, क्योंकि उन्होंने कथित तौर पर हिरासत से भागने की कोशिश की थी, जबकि बलात्कार और पशु तस्करों के आरोपियों सहित कई अन्य मुठभेड़ों में घायल हो गए हैं.
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