दुनिया में कई सारे ऐसे लोग मौजूद है, जिन्होंने पहले तो खूब लग्जरी लाइफ जी लेकिन वक्त के साथ-साथ उनकी चमक फीकी पड़ती हुई नजर आई। आइए जानते हैं ऐसे ही आर्म्स डीलर अदनान खशोगी के बारे में यहां।
हमने अपने बढ़े-बुजुर्गों को अकसर ये कहते हुए सुना है कि जो बाहर से जैसा दिखाता है असल में वो अंदर से बिल्कुल उसका उल्टा होता है। वैसे देखा जाए तो इसके लिए हम दूरे के ढोल सुहाने लगते हैं जैसे मुहावरे का इस्तेमाल कर भी सकते हैं। आप सोच रहे होंगे कि इस तरह की बातें आखिर हम कर क्यों रहे हैं। तो आपको बता दें कि यहां हम एक ऐसी शख्सियत के बारे में बात करने जा रहे हैं जिसकी जैसी लग्जरी लाइफ हर कोई जीने की इच्छा रखता था लेकिन हकीकत जानकर सभी की रूंह कांप उठी थी। वो शख्स कोई और नहीं बल्कि अदनान खशोगी है। पांच फीट कद वाले अदनान खशोगी ने सफलता की वो ऊंचाई छूई थी। जिसकी कोई कल्पान तक नहीं कर पाता था। आज हम आपको बताते हैं कि अमीरों की दुनिया से निकलकर कैसे अदनान खशोगी बन बैठा फकीर।
अदनान आर्म्स डीलर के साथ-साथ अपने पास दुनिया की सबसे शानदार. लग्जरी और महंगी नाव रखा था। एक दिन में वो ढाई लाख डॉलर तक बिना सोचे समझे खर्च कर दिया करता था। कई दिनों तक उसकी पार्टियां चला करती थी। लिज टेलर का कैंसर ऑपरेशन सफल रहा था तो अदनान ने एक शानदार पार्टी रखी थी। इसके बाद अपने बड़े बेटे के जन्मदिन पर जो जलसा उसने किया था उसे यूरोप के इतिहास की सबसे बड़ी पार्टी बताया गया था। यहां तक की अदनान के भारत के साथ भी संबंध थे जोकि बहुत कम लोगों को पता है। आइए जानते हैं एक-एक करके ऐसी ही हैरान करने वाली बातों के बारे में यहां।
खशोगी और भारत का कनेक्शन
खशोगी उस वक्त चर्चा में रहा था जब भारत में उसका नाम विवादों में रहने वाले गॉडमैन चंद्रास्वामी से जुड़ा था। 1991 में खगोशी भारत आया था तो उसका स्वागत चंद्रास्वामी की ओर से किया गया था। इसके बाद चंद्रास्वामी के जरिए उस समय के पीएम चंद्रशेखर से भी उनकी मुलाकात हुई थी। यहां तक की खगोशी ने राजीव गांधी से भी मुलाकात की थी। वहीं, बीजेपी के एक नेता की ओर से एक पार्टी खशोगी के सम्मान में रखी गई थी। उस दौरान पीएम के एक प्रसिद्ध हथियार डीलर से मिलने पर काफी ज्यादा बवाल मचा था और सवाल खड़े किए गए थे।
पढ़ाई छोड़ सीखा था ये काम
अदनान खशोगी का जन्म 23 जुलाई 1935 को सऊदी अरब के मक्का शहर के अंदर हुआ था। अदनान के पिता सऊदी अरब के शाह इब्न सऊद के निजी डॉक्टर के तौर पर काम करते थे। वो अपने छह-भाई बहनों में सबसे बड़े और तेज दिमाग वाला था। विक्टोरिया स्कूल में अग्रेजी भाषा और तहजीब सिखाकर उन्होंने बहुत कुछ आगे चलकर हासिल किया। वो आगे अमेरिका अपनी उच्च शिक्षा के लिए गया था लेकिन आगे की पढ़ाई अपनी पूरी नहीं की थी। अमेरिका में वो शानदार लाइफस्टाइल, पैसे की ताकत को बढ़ाना और रसूखदार लोगों से दोस्ती करना सीखते हुए नजर आए।
ऐसे दुनिया के अमीर लोगों के बीच बनाई जगह
चिको स्टेट कॉलेज में अपनी पढ़ाई के वक्त ही 21 साल की उम्र में उसने एक अमेरिकी कंपनी के ट्रक मिस्त्र में बिकवाने का काम किया था। उस वक्त कमीशन के तौर पर उसे डेढ़ लाख डॉलर मिले थे। इसके बाद खगोशी इसी रास्ते पर आगे चलता हुआ नजर आया। फिर अमेरिका प्रवास के वक्त खशोगी अपनी दोस्ती सऊदी अरब के साथ-साथ खड़ी देशों के कई राजकुमारों से बढ़ता हुआ नजर आया। इस लिस्ट में उस वक्त के अमेरिका के राष्ट्रपति बनने वाले रिचर्ड निक्सन भी शामिल थे। बिचौलिए के तौर पर खशोगी ने लॉकहीड, क्राइसल और राइथियान जैसी कंपनियों के लिए काम तक किया था। वक्त के साथ-साथ खगोशी दुनिया का सबसे अमीर आदमी बन गया।
एक दिन में करता था ढाई लाख डॉलर खर्च
आप लोगों को ये जानकार हैरान होगी कि अदनान ने अपने पिता से मिले कार खरीदने तक के पैसे का उपयोग अपने बिजनेस के लिए किया था। वक्त जैसे-जैसे गुजरता गया अदनान सऊदी अरब तक आर्म्स डील में मिडल मैन के तौर पर अपनी पहचान बना चुका था और लाखों में कमीशन वसूलने का काम करने लगा। उन पैसों से उसने हॉलिडे रिजॉर्टस, प्रॉपर्टी और शिपिंग लाइन का जबरदस्त और बड़ा कारोबार खड़ा तक कर दिया। 1970 तक वो मुकाम हासिल कर चुका था जिसके चलते वो एक दिन का ढाई लाख डॉलर खर्च किया करता था। उस वक्त उसने एक साउथ कोरियन बॉडीगार्ड को रखा था।
दो शादी करने के बाद दिया सबसे मंहगा तलाक
अदनान की दो शादियों हुई थी। इसके बावजूद उसकी 11 मिस्ट्रेस थी, जिन्हें लोग प्लेजर वाइफ्स के तौर पर दुनियाभर में जानते थे। 1961 में पहली शादी अदनान की लेसिस्टर की सैंड्रा जार्विस डेले से हुई थी। बाद में जाकर उन्होंने मुस्लिम धर्म का अपनाया था और अपना नाम सुरैया रख लिया था। फिर 1974 में दोनों की शादी में दरार आ गई। तलाक के हर्जान के रुप में खगोशी ने सुरैया को 87.50 करोड़ डॉलर दिए थे। जिसके चलते ये उस समय का सबसे मंहगा तलाक माना गया था।
अदनान खशोगी करता था प्रॉस्टिट्यूट सप्लाई!
सबसे हैरानी वाली बात तो तब आई जब उनकी बायोग्राफी लिखने वाले रोनाल्ड केलसर ने इस बात का खुलासा किया था कि वो अपने कुछ दोस्तों, राजकुमारों और साथ-साथ बिजनेस एसोसिएट्स के लिए दिन में कम से कम 10 लड़कियों के ऑर्डर तक दिया करता था। डिमांड हमेशा फ्रेश, खूबसूरत और नई लड़कियों की ही हुई करती थी जोकि पहले न आई हो। ऐसा कहा जाता है कि सेक्स वर्कर्स के साथ काफी उठना-बैठना होता था। 11 महिलाएं हर वक्त सेवा में लगी रहती थी।
जेम्स बॉन्ड की फिल्म में हुआ खशोगी की नाव का इस्तेमाल
बहुत कम लोगों को पता है कि एक वक्त ऐसा था जब दुनिया की सबसे लग्जरी नाव खशोगी के पास हुआ करती थी, जिसका इस्तेमाल जेम्स बॉन्ड की फिल्म की शूटिंग करने के लिए किया गया था। इसके बाद उस नाव को डोनाल्ड ट्रंप ने खरीद लिया था।
जब विवादों में आया नाम तो खत्म हुई लग्जरी जिंदगी
70 के दशक में जिस वक्त सऊदी अरब और बाकी देश इजरायल के खिलाफ खुद को ताकतवर बनाने के लिए हथियारों की रेस में उतरने का फैसला करते हुए नजर आए तब खगोशी ने अहम भूमिका निभाई और अमेरिकी हथियार इंडस्ट्री से कॉनटेक्ट का अहम जरिया बन चुके थे। कई सालों तक सऊदी अरब की आर्म्स खरीद में वो अहम रोल निभाता हुआ नजर आया। वैसे तो उसे किसी भी अपराध में दोषी नहीं माना गया। लेकिन कानून और उसके बीच लुकाछिपी बनी रहती थी। कई बड़े स्कैंडलों में उसका नाम आया था। लेकिन 1998 के वक्त वो स्विट्जरलैंड में बैंक के पैसे को गबन करने के इलजाम में गिरफ्तार किए गए। लेकिन अमेरिका में जब मुकदम चला तो उन्हें बरी कर दिया गया और वो निदोर्ष पाया गया। लेकिन कई सारे विवादों में जब नाम आना शुरु हुआ तो लोगों ने उसे दूध में पड़ी मक्खी की तरह बाहर निकाल दिया। उससे दूरी बनाना शुरु कर दी। यहां तक की सऊदी राज परिवार ने भी उसे सौदों से दूर रखना शुरु कर दिया था। स्थिति इतनी खराब हो गई कि उसे अपना प्राइवेटे डीसी 9 एयरलाइनर ही नहीं बल्कि नौका नैबिला तक बेचना पड़ा था।