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कर्मचारी भविष्य निधि संगठन के EPFO की बैठक में शनिवार को एक बड़ा ऐलान किया गया. बैठक में निर्णय लिया गया कि भविष्य निधि खाते की केंद्रीकृत आईटी प्रणाली को मंजूरी दी जाएगी. इसका मतलब यह हुआ कि अगर कोई कर्मचारी नौकरी बदलता है या एक कंपनी से दूसरी कंपनी को जॉइन करता है तो पीएफ अकाउंट ट्रांसफर करने का झंझट नहीं होगा. यह काम स्वत: हो जाएगा.
पीएफ खाते को ट्रांसफर करने की झंझट खत्म
केंद्रीकृत प्रणाली की मदद से कर्मचारी के खाते को मर्ज किया जाएगा. अब तक यह नियम है कि जब कोई कर्मचारी एक कंपनी छोड़कर दूसरी कंपनी में जाता है तो वह या तो पीएफ का पैसा निकाल लेता है या फिर दूसरी कंपनी में ट्रांसफर कर देता है. अब तक खाते को ट्रांसफर करने का यह काम खुद ही करना पड़ता है. केंद्रीकृत प्रणाली पीएफ खाताधारकों के विभिन्न खातों को मिलाकर एकल खाता बनाएगी.
ईपीएफओ की बैठक में बड़ा फैसला
इसके अलावा केंद्रीय कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ने बैठक में फैसला किया कि ईपीएफओ की सालाना जमा राशि का 5 फीसदी इंफ्रास्ट्रक्चर इंवेस्टमेंट ट्रस्ट इनविट समेत वैकल्पिक निवेश में लगाया जाएगा. शनिवार को होने वाली बैठक का काफी दिनों से इंतजार किया जा रहा था क्योंकि इसमें कई अहम बातें तय होनी थीं. न्यूनतम पेंशन राशि और पीएफ ब्याज दर बढ़ाने पर भी चर्चा हो रही है. इस दौरान वैकल्पिक फंडों में निवेश बढ़ाने का फैसला किया गया है. ईपीएएफ के केंद्रीय बोर्ड ने अपनी मंजूरी दे दी है.
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