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मंकीपॉक्स का खतरा बढ़ चुका है. इसे देखते हुए देश का मेडिकल सेक्टर भी अलर्ट हो गया है. वहीं त्रिविट्रान हेल्थकेयर ने यह घोषणा की है कि उसने मंकीपॉक्स के परीक्षण के लिए एक पीसीआर-आधारित किट विकसित की है.
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मंकीपॉक्स वायरस का खतरा
आपको बता दें कि, दुनिया के 20 से ज्यादा देशों में फैल चुके मंकीपॉक्स वायरस को लेकर दहशत है. राहत की बात यह है कि यह वायरस अभी तक भारत में नहीं पहुंचा है. भारत में मंकीपॉक्स का कोई मामला सामने नहीं आया है. फिर भी इसकी रोकथाम के लिए चिकित्सा जगत की तैयारियां तेज हो रही हैं. चिकित्सा उपकरण निर्माता त्रिविट्रान हेल्थकेयर ने शुक्रवार को घोषणा की है कि उसने भारत में मंकीपॉक्स संक्रमण का पता लगाने के लिए एक वास्तविक समय पीसीआर-आधारित किट विकसित की है.
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किट है तैयार
मिली जानकारी के अनुसार, यह Paxviridae परिवार का एक सदस्य है. आपको बता दें कि चेचक का कारण बनने वाला वेरियोला वायरस भी ऑर्थोपॉक्स वायरस जीनस का सदस्य है. ऑर्थोपॉक्स वायरस जीनस के अन्य सदस्यों में वैक्सीनिया वायरस और चेचक भी शामिल हैं. सूत्रों के अनुसार, पीसीआर किट चार रंगों की फ्लोरोसेंस आधारित टेस्ट किट है जो चेचक और मंकीपॉक्स में अंतर करने में सक्षम है.
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