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महाशिवरात्रि: भूलकर भी न करें ये काम वरना होगा नुकसान, जानिए पूजा की विधि और मुहूर्त

महाशिवरात्रि पर यदि पाना है भगवान शिव का जिंदगी भर साथ तो यहां जानिए पूजा विधि, शुभ मुहूर्त, क्या करें क्या नहीं और इस त्योहार से जुड़ी हर छोटी-बड़ी अहम जानकारी।

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By Deepakshi | लाइफ स्टाइल - 05 March 2021

महाशिवरात्रि का पर्व बेहद ही शुभ माना जाता है। ये त्योहार फाल्गुन मास की चतुर्दशी तिथि को मनाया जाता है। इस साल महाशिवरात्रि 11 मार्च 2021 को पड़ रही है। पौराणिक कथाओं के मुताबिक भगवान शिव और मां पार्वती का इस दिन विवाह हुआ था। महाशविरात्रि का व्रत करने वालों को शिवरात्रि पर जल्दी सुबह नहाने के बाद पूजा करके निराहर व्रत करना चाहिए। इसके अलावा रात में पूजा करने के बाद सुबह उठकर पूजा करने के बाद व्रत का पारण करना चाहिए। इसके अलावा पूरे विधि-विधान के साथ पूजा करने के साथ महाशिवरात्रि की कथा भी पढ़नी चाहिए। तो चलिए जानते हैं महाशिवरात्रि पूजा का मुहूर्त और उन चीजों के बारे में जिनका आपको इस दिन खास ख्याल रखना चाहिए। ताकि महादेव आपसे नाराज न हो।

महाशिवरात्रि 2021 की तिथि 

1 - बृहस्पतिवार यानी 11 मार्च 2021 को महाशिवरात्रि मनाई जाएगी।

2- तिथि की शुरुआत- 11 मार्चो को 2 बजकर 39 मिनट से होगी। 

3- तिथि की समाप्ति- 12 मार्च के दिन यानी शुक्रवार को दोपहर 3 बजकर 2 मिनट पर है। 

महाशिवरात्रि 2021 का शुभ मुहूर्त

- शिवरात्रि पर पहला प्रहर- 11 मार्च को शाम 6: 27 मिनट से 9:29 मिनट तक है।

- शिवरात्रि पर दूसरा प्रहर- रात को 9: 29  मिनट से 12: 31 मिनट तक है। 

- शिवरात्रि पर तीसरा प्रहर- रात 12: 31 मिनट से 3: 32 मिनट तक का है। 

- शिवरात्रि पर चौथा प्रहर- 12 मार्च को सुबह 3: 32 से सुबह 6: 34 मिनट तक का है। 

- इसके अलावा महाशिवरात्रि पारणा मुहूर्त- 12 मार्च को सुबह 6:36 मिनट से दोपहर 3:04 मिनट तक का है।


महाशिवरात्रि पर चढ़ाएं शिवलिंग पर ये तमाम चीजें

- 108 बेलपत्र को इस दिन चढ़ाएं।

- भांग को दूध में मिलाकर शिवलिंग पर चढ़ाइए क्योंकि भगवान शिव को भांग काफी ज्यादा पसंद है। 

- इसके अलावा गन्ने का रस और धतुरा भगवान शिव को अर्पित करें क्योंकि उन्हें ये बहुत पसंद है। ऐसा करने से आपके जीवन में मिठास आएगी। 

- आप जल में गंगाजल मिलकर शिवलिंग पर चढ़ा सकते हैं। इससे आपके मन को शांति मिलेगी। 

ऐसे करें भगवान शिव की पूजा 

- आप सबसे पहले भगवान शंकर को पंचामृत से स्नान कराए।

- अब केसर के 8 लोटे जल उन पर चढ़ाएं।

- पूरी रात घी का दीपक जलाए।

- चंदन का तिलक लगाएं।

- अब इसके बाद भांग,बेलपत्र, धतूरा, गन्ने का रस, तुलसी, जायफल, फल, मीठा, कमल गट्टे, मीटा पान, इत्र और दक्षिणा चढ़ाएं।

- इन सबके बाद में केसर युक्त खीर को आप भोग के तौर पर प्रसाद में चढ़ाइए।

- अब इस दौरान ॐ नमो भगवते रूद्राय, ॐ नमः शिवाय रूद्राय् शम्भवाय् भवानीपतये नमो नमः  मंत्र का जाप करते रहे।

- इस दिन आप शिव पुराण का पाठ भी जरूर कर सकते हैं। 

- साथ ही कई जगहों पर महाशिवरात्रि के दिन कई जगहों पर रात को जागरण भी किया जाता है।

अब आपको बताते हैं कि महाशिवरात्रि पर आपको क्या करना चाहिए क्या नहीं- 

क्या करना रहता है शुभ- 

- इस दिन शिवलिंग की पूजा करना जरूरी होती है। ऐसा कनरा काफी ज्यादा फलदायक माना जाता है।

- सफेद फूलों का प्रयोग आपको पूजा में करना चाहिए। 

- भगवान शिव के साथ-साथ मां पार्वती की पूजा भी इस दिन करनी चाहिए। इससे आपका वैवाहिक जीवन भी सुखमय रहेगा। 

- इस दिन नंदी का पूजन करना जरूरी है। क्योंकि इनके बिना भगवान शिव की पूजा अधूरी मानी जाती है।

- महाशिवरात्रि पर भगवान शिव की कृपा बनाए रखने के लिए बैल को हरा चारा खिलाना चाहिए।

क्या न करें

- इस दिन देर तक बिल्कुल भी न सोएं। यदि व्रत नही हैं तभी स्नान और पूजा किए बैगर भोजन न करें।

- काले रंग के कपड़े इस दिन बिल्कुल भी न पहने।

- शिवलिंग की परिक्रमा करते वक्त जल स्थान को बिल्कुल भी न लांघे।

- भगवान शिव की पूजा में तुलसी, हल्दी और कुमकुम का इस्तेमाल बिल्कुल भी न करें।

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