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उत्तर प्रदेश में नोएडा में भूमि अधिग्रहण और संपत्तियों के आवंटन पर नियंत्रक और महालेखा परीक्षक (CAG) की निष्पादन लेखा परीक्षा रिपोर्ट, जिसे संसदीय मामलों के मंत्री सुरेश खन्ना ने शुक्रवार को यूपी विधानसभा में पेश किया था, ने कहा कि 55,000 रुपये का नुकसान हुआ है. 2005 और 2014 के बीच नोएडा में आवासीय, वाणिज्यिक और औद्योगिक उद्देश्यों के लिए भूखंडों के आवंटन के दौरान राज्य के खजाने को करोड़.
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कैग की रिपोर्ट में कहा गया है कि अकेले एक योजना में 2,800 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ, जिसमें फार्महाउस के लिए भूखंडों का आवंटन किया गया था. हालांकि, राज्य में भ्रष्टाचार के मामलों की जांच कर रहे एक स्वतंत्र सरकारी निकाय यूपी लोकायुक्त की 2013 की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि आवंटन प्रक्रिया में 'शून्य घोटाला' था. अलग-अलग निष्कर्षों वाली ये दो महत्वपूर्ण रिपोर्टें बहस का विषय बन गई हैं. फार्महाउस के लिए भूखंडों के आवंटन में हुए नुकसान भी दो छोटी जांचों में भिन्न हैं, जो 2013 में यह निर्धारित करने के लिए किए गए थे कि कोई घोटाला हुआ है या नहीं.
यह घोटाला 12 गांवों में 1,000 वर्ग मीटर के लगभग 150 भूखंडों का आवंटन कंपनियों और व्यक्तियों को कथित तौर पर मामूली कीमतों पर और मानदंडों का उल्लंघन करके करने से संबंधित है. औद्योगिक विकास के लिए उपजाऊ खेत का अधिग्रहण किया गया था और बाद में 2008-10 में फार्महाउस के निर्माण के लिए आवंटित किया गया था.
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